ANCHOR: महाराष्ट्र की राजनीती में बहुत कुछ सही नहीं चल रहा है। विशेषकर दिल्ली चुनांव के बाद तो मानो दिल्ली के साथ-साथ ऐसा लग रहा कि महाराष्ट्र में भी काफी कुछ बदलने वाला है। दरअसल पहले से ही एक ओर सत्ताधारी गठबंधन महायुति में अनबन की खबरें हैं तो वहीं विपक्षी अलायंस महाविकास अघाड़ी में भी उथल-पुथल मची हुई है। जिसमें एनसीपी-एसपी प्रमुख शरद पवार की डिप्टी सीएम एकनाथ शिंदे से मुलाकात के बाद से उद्धव ठाकरे गुट में बहुत नाराजगी दिख रही है। आपको बता दें कि मंगलवार को दिल्ली में आयोजित 98वें अखिल महाराष्ट्र साहित्य सम्मेलन में एकनाथ शिंदे को महदजी शिंदे राष्ट्रीय गौरव पुरुस्कार से शरद पवार ने अपने हांथो से सम्मानित किया था। हालांकि इसके बाद उनकी पार्टी ने यह जरूर कहा था कि यह कार्यक्रम एक साहित्य कार्यक्रम था न कि कोई राजनीतिक बैठक। बतातें चले कि भजपा ने एकनाथ शिदें को उद्धव ठाकरे से बेहतर मुख्यमंत्री बताया था।
आदित्य ठाकरे ने की शरद पवार की जमकर आलोचना
शरद पवार के मुद्दे पर आएं तो यह उध्दव ठाकरे गुट को सरद पवार का एकनाथ शिंदे से मिलना बिल्कुल पसंद नहीं आया है। इसी के चलते उध्दव ठाकरे के बेटे और शिवसेना नेता अदित्य ठाकरे ने शरद पवार की जमकर आलोचना करते हुए कहा कि मैं उनकी उम्र, अनुभव और आदर्शों पर टिप्पणी नहीं करुंगा पर इतना जरूर कहुंगा कि यह हमारे आदर्श हैं कि एकनाथ शिंदे जैसे व्यक्ति को सम्मान बिल्कुल भी ना दें। जिसने ना सिर्फ हमारी पार्टी और परिवार को तोड़ा है बल्कि महाराष्ट्र की आधुनिकता को भी कमजोर किया है। आगे उन्होंने कहा कि जो महाराष्ट्र द्रोही है वह राष्ट्रद्रोही है।
संजय राउत बोले मराठी लोग आहत
शरद पवार और शिदें की मुलाकात का ये मामला सिर्फ आदित्य ठाकरे तक नहीं थमा कल शिव सेना के प्रवक्ता संजय राउत ने भी पवार पर हमला बोला उन्होंने कहा कि ऐसे व्यक्ति को सम्मानित करना जिसने शिवसेना को विभाजित तथा महाराष्ट्र को कमजोर किया है। इससे मराठी लोगों की भावनांए आहत हुई हैं। यह शायद पहली बार है जब शिवसेना ने प्रत्यक्ष रूप से सीधे पवार पर निशाना साधा है।
क्या बोले थे पवार ?
दोबारा पवार पर आएं तो रिपोर्टस के मुताबिक पवार ने बीते कार्यक्रम के दौरान एकनाथ शिंदे की जमकर तारीफ की थी। जहां पर उन्होंने कहा था कि शिंदे उन नेताओं में से एक हैं जो ठाणे की राजनीती को सही दिशा में ले गए हैं। साथ ही उन्होंने कहा कि पिछले 50 सालों में शिदें ने आम नागरिकों के मुद्दों पर बहुत बेहतर तरीके से कार्य किया है। शायद यही बात शिवसेना नेताओं को अच्छी नहीं लगी विशेषकर संजय राउत और आदित्य ठाकरे को जो कि एकनाथ शिंदे के मुख्य आलोचक रहें है।
अरविंद केजरीवाल से मिलेंगे आदित्य ठाकरे
खैर ये बयानबाजी लगातार बढ़ती जा रही है एक दूसरे पर जिससे महाराष्ट्र में राजनीती की गहमा-गहमी और बढ़ गयी है। शायद यही कारण है कि इस खलबली के बीच आदित्य ठाकरे अरविंद केजरीवाल से मुलाकात करने जा रहे हैं। बतां दें कि इससे पहले आदित्य राहुल गांधी से भी मिलकर बातचीत कर चुके हैं। ये दोनों ही मुलाकातें शरद पवार से पार्टी की नाराजगी के बात बहुत अहम मानी जा रही हैं।